बी एड - एम एड >> बीएड सेमेस्टर-2 तृतीय प्रश्नपत्र - शिक्षा के तकनीकी परिप्रेक्ष्य बीएड सेमेस्टर-2 तृतीय प्रश्नपत्र - शिक्षा के तकनीकी परिप्रेक्ष्यसरल प्रश्नोत्तर समूह
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बीएड सेमेस्टर-2 तृतीय प्रश्नपत्र - शिक्षा के तकनीकी परिप्रेक्ष्य - सरल प्रश्नोत्तर
प्रश्न- समस्या-समाधान विधि के गुण और दोषों का वर्णन कीजिए।
उत्तर-
समस्या-समाधान विधि के गुण तथा दोष
(Merits and Demerits of Problem-Solving Method)
इस विधि के निम्नलिखित गुण हैं-
1. इस विधि के प्रयोग से छात्र 'सबसे अच्छा क्या है?' के विषय में सोचना, चयन, तुलना तथा निर्णय करना सीख जाते हैं।
2. इसके द्वारा छात्र अपने भावी जीवन की समस्याओं को हल करने के लिये तैयार होते हैं।
3. इस विधि के प्रयोग से छात्र समस्या हल करने की विधि सीख जाते हैं।
4. इस विधि से छात्रों में स्वाध्याय की आदत का निर्माण होता है।
5. इससे छात्रों में वैज्ञानिक दृष्टिकोण विकसित होता है तथा वे मुद्रित सूचनाओं का अन्धानुकरण नहीं करते हैं।
6. यह विधि व्यावहारिक जीवन के अनुरूप है।
7. यह विधि व्यक्तित्व विकास में मदद करती है।
इस विधि के दोषों को निम्न प्रकार से समझा जा सकता है
1. यह विधि जूनियर क्लासों के लिये उपयुक्त नहीं है।
2. यदि इसका प्रयोग आवश्यकता से अधिक किया जाये तो यह नीरस एवं यांत्रिक बन जाती है।
3. इस विधि से हमेशा सन्तोषजनक परिणाम नहीं मिलते हैं।
4. इसमें छात्रों की व्यक्तिगत भिन्नताओं एवं रुचियों को महत्त्व नहीं दिया जाता है।
5. इस विधि के प्रयोग के लिये कुशल शिक्षकों की कमी है।
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