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बी.एड. सेमेस्टर-1 प्रश्नपत्र- IV-C - लिंग, विद्यालय एवं समाज

सरल प्रश्नोत्तर समूह

प्रकाशक : सरल प्रश्नोत्तर सीरीज प्रकाशित वर्ष : 2023
पृष्ठ :215
मुखपृष्ठ : ई-पुस्तक
पुस्तक क्रमांक : 2702
आईएसबीएन :0

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बी.एड. सेमेस्टर-1 प्रश्नपत्र- IV-C - लिंग, विद्यालय एवं समाज

प्रश्न- लिंग की परिभाषा देते हुए उसका अर्थ बताइए।

उत्तर-

लिंग और यौन अवधारणाएँ एक दूसरे से सम्बन्धित हैं। इसलिए लिंग और लिंग भेद की यौन और यौन भेद के सन्दर्भ में समझना अधिक सरल है। इसी सन्दर्भ में लिंग की परिभाषा और अर्थ को विवेचनात्मक प्रस्तुत करें।

प्राकृतिक विज्ञानी की दृष्टि एक प्राणी विज्ञान स्त्री-पुरुष के जैविक लक्षणों को विज्ञानिक अध्ययन करते हैं। इसका जैविक और पुनर्जनन कार्यों पर ही ध्यान केन्द्रित रहता है। पचास वर्षों में यह अध्ययन में यौनिक भेद (सेक्स) से सम्बंधित किया जाने लगा है। सामाजिक विज्ञानों में विशेष रूप से मनोविज्ञान व समाजशास्त्र में स्त्री-पुरुषों का अध्ययन—लिंग भेद (Gender) के आधार पर किया जाता है, जिसका सम्बन्ध व्यक्ति के जन्म से लेकर सामाजिक भेद प्रदान किया जाता है। 'स्त्री' और 'पुरुष' का अध्ययन सामाजिक सम्बन्धों से सम्बन्ध के लिये किया जाता है। यौनिक भेद जैविक-सामाजिक है, और लिंग भेद सामाजिक सांस्कृतिक है। यौनिक-भेद (Sex) शोध के अन्तर्गत स्त्री-पुरुष का नर-मादा के बीच भिन्नताओं का अध्ययन करते हैं, जिससे जैविक लक्षणों जैसे पुनरुत्पन्न कार्य पद्धति, शुक्राणु-अण्डाणु एवं गर्भाधान क्षमता, शारीरिक बल क्षमता, शरीर रचना की भिन्नता आदि पर ध्यान किया जाता है। लिंग भेद में 'स्त्री' और 'पुरुष' का अध्ययन पति-पत्नी, माता-पिता, भाई-बहन, पुत्र-पुत्री के रूप में, अर्थात् सामाजिक सांस्कृतिक दृष्टिकोण से किया जाता है। उनके समाज में प्रतिष्ठा और भूमिकाएँ क्या हैं? उनके कर्तव्य व अधिकार क्या हैं? इस अध्ययन किया जाता है। लिंग भेद की अवधारणा का उद्देश्य 'स्त्री' और 'पुरुष' के बीच मानसिक, धार्मिक, आर्थिक, राजनीतिक, सांस्कृतिक, शैक्षिक आदि भिन्नताओं, समानताओं और असमानताओं का वर्णन व्याख्यान करता है।

लिंग भेद (Sex) शब्द का प्रयोग एन ओकले ने 1972 में अपनी कृति Sex, Gender and Society में किया था। आपके अनुसार 'यौन भेद' का अर्थ 'स्त्री' और 'पुरुष' का जैविकीय विभाजन है और लिंग भेद से अपेक्षा तात्पर्य स्त्रीत्व तथा पुरुषत्व के रूप में सम्मान एवं सामाजिक रूप से असमान विभाजन से है। "लिंग भेद" की अवधारणा के अन्तर्गत 'लिंग भेद' के बीच में सामाजिक दृष्टिकोण से जो भिन्नता दर्शाई जाती है, वह लिंग भेद है। लिंग भेद, इस प्रयोग सांस्कृतिक आदर्शों स्त्रीत्व और पुरुषत्व से सम्बन्धित धारणाओं के लिए किया जाता है। इस अवधारणा का प्रयोग स्त्री और पुरुष के बीच शारीरिक क्षमताओं के आधार पर जो सामाजिक संस्थाओं तथा संगठनों में श्रम विभाजन होता है, उनके लिये भी किया जाता है।

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