बी काम - एम काम >> बीकाम सेमेस्टर-1 व्यावसायिक सम्प्रेषण बीकाम सेमेस्टर-1 व्यावसायिक सम्प्रेषणसरल प्रश्नोत्तर समूह
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बीकाम सेमेस्टर-1 व्यावसायिक सम्प्रेषण
अध्याय - 11
व्यावसायिक भाषा
(Business Language)
प्रश्न- भाषा को सम्प्रेषण के उपकरण के रूप में समझाइये। व्यावसायिक भाषा का महत्व बताइये।
इस प्रश्न का उत्तर आगे दिये गये सम्बन्धित लघु उत्तरीय प्रश्नों के उत्तरों को मिलाने से पूरा होता है।
सम्बन्धित लघु उत्तरीय प्रश्न
प्रश्न- भाषा क्या है? सम्प्रेषण के एक उपकरण के रूप में इसका वर्णन कीजिए।
उत्तर -
(Meaning of Language)
भाषा वह माध्यम है जिससे एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति के समक्ष अपने विचारों, अनुभवों तथा अपने मनोभावों को व्यक्त करता है। अपने भावों को व्यक्ति आँखों, नाक, पैर, हाथ आदि की शारीरिक क्रियाओं के माध्यम से व्यक्त कर सकता है। वस्तु प्रदर्शन, चित्र प्रदर्शन तथा अलग-अलग क्रियाओं द्वारा व भिन्न संकेतों से व्यापक आशय में भाव प्रदर्शित करने के इन सभी साधन को भाषा कहते हैं। वर्तमान समय में विचारों व अनुरोधों को प्रयुक्त होने वाले ध्वनि संकेत को ही भाषा की संज्ञा दी जाती है। सामान्य रूप से भाषा मनुष्य की सार्थक वाणी को कहा जाता है। भाषा शब्द संस्कृत के भाष धातु से बना है, जिसका आशय वाणी को व्यक्त करना होता है। इसके द्वारा व्यक्तियों के भावों, विचारों आदि को प्रकट किया जाता है। भाषा कदाचित वाचिक ध्वनि संकेतों की ऐसी पद्धति है जिसके द्वारा मानव परस्पर विचारों का आदान- प्रदान करता है। भाषा चिरपरिवर्तनशील होती है, अर्थात् भाषा का कोई रूप अन्तिम स्वरूप नहीं होता है। भाषा में समय के साथ विकास होता रहता है। यह नए शब्दों को शामिल करती है एवं पुराने शब्दों को त्याग देती है। प्रत्येक भाषा की संरचना व भौगोलिक सीमा होती है।
मनुष्य द्वारा किए गए अधिकारों में भाषा सर्वाधिक विलक्षण उपकरण है। यह उसे अपने विचारों एवं भावनाओं को स्पष्ट रूप से व्यक्त करने में सक्षम बनाती है।
टी. बालसुब्रमणियन के अनुसार, "भाषा का बहुत महत्वपूर्ण सामाजिक प्रयोजन होता है क्योंकि मुख्य रूप से इसका उपयोग भाषागत सम्प्रेषण के लिए किया जाता है।"
व्यक्ति भाषा का उपयोग किए बिना भी सम्प्रेषण कर सकता है। उदाहरण के लिए एक बच्चा तब चिल्लाता है जब वह भूखा होता है। इस उदाहरण में सम्प्रेषण भाषा का उपयोग किए बिना हो जाता है। परन्तु व्यक्ति को भाषा की आवश्यकता इसलिए होती है क्योंकि उसे बहुत अधिक विचारों को व्यक्त करना होता है। यह भाषा ही है जो मनुष्य को जानवरों से अलग करती है। इस प्रकार व्यक्ति को भाषागत सम्प्रेषण की जरूरत होती है। समाजीकरण एवं भाईचारे के लिए भाषा महत्वपूर्ण होती है। विभिन्न जातियों एवं धर्म मत तथा राष्ट्रीयता के लोग यदि एक-दूसरे की भाषा को जानते हो, तो वे अपने विचारों का आदान-प्रदान कर सकते हैं।
भाषा का उपयोग मौखिक अथवा लिखित रूप में किया जा सकता है। इस प्रकार हम बोलकर या लिखकर सम्प्रेषण कर सकते हैं।
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