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एम ए सेमेस्टर-1 शिक्षाशास्त्र तृतीय प्रश्नपत्र - उच्चतर शैक्षिक मनोविज्ञान

सरल प्रश्नोत्तर समूह

प्रकाशक : सरल प्रश्नोत्तर सीरीज प्रकाशित वर्ष : 2022
पृष्ठ :180
मुखपृष्ठ : पेपरबैक
पुस्तक क्रमांक : 2687
आईएसबीएन :0

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एम ए सेमेस्टर-1 शिक्षाशास्त्र तृतीय प्रश्नपत्र - उच्चतर शैक्षिक मनोविज्ञान

प्रश्न- उपलब्धि परीक्षण से व्यक्तिगत विभिन्नता का मापन बताइये।

उत्तर -

उपलब्धि परीक्षण

शैक्षिक ज्ञान के मापन की दृष्टि से उपलब्धि परीक्षण सबसे प्रमुख है। इन परीक्षणों के द्वारा न केवल छात्रों के ज्ञान के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त की जा सकती है, वरन् भावी कथन भी किया जा सकता है। प्रायः शिक्षालय के समस्त विषयों से सम्बन्धित ज्ञान का मापन करने हुत उनका प्रयोग किया जा सकता है। उपलब्धि परीक्षण का अर्थ स्पष्ट करने के लिए विभिन्न विद्वानों द्वारा दी गई परिभाषाओं का उल्लेख निम्नलिखित है-

(i) थॉर्नडाइक एवं हेगन - "जब हम उपलब्धि परीक्षण का प्रयोग करते हैं तब हम इस बात को निर्धारित करना चाहते हैं कि एक विशेष प्रकार की शिक्षा प्राप्ति के पश्चात् व्यक्ति ने क्या सीखा है।"
(ii) गैरिसन एवं अन्य - उपलब्धि परीक्षण, बालक की वर्तमान योग्यता अथवा किसी विशिष्ट विषय के क्षेत्र में उसके ज्ञान की सीमा का मूल्यांकन करता है।'
(iii) प्रेसी, रॉबिन्सन व हॉरक्स - "उपलब्धि परीक्षणों का निर्माण मुख्यतः शिक्षार्थियों के अधिगम के स्वरूप एवं सीमा का माप करने हेतु किया जाता है।'

उपलब्धि परीक्षण दो प्रकार के होते हैं प्रमापीकृत परीक्षण व अप्रमापीकृत परीक्षण |

आवश्यकतानुसार, वस्तुनिष्ठ, आत्मनिष्ठ निबन्धात्मक व मौखिक परीक्षण, उपलब्धि मापन हेतु प्रयुक्त किये जाते हैं।

बुद्धि परीरक्षण

स्टर्न के अनुसार - "बुद्धि एक व्यक्ति की सामान्य क्षमता है, जिसके माध्यम से वह चेतनापूर्वक अपने विचारों को नयी आवश्यकताओं से समायोजित करता है। यह नवीन समस्याओं व जीवन की परिस्थितियों के प्रति सामान्य मानसिक ग्रहणशीलता है।'
टरमैन के अनुसार - "भावात्मक विचारों के अनुरूप चिन्तन की क्रिया ही व्यक्ति की बुद्धि कहलाती है।'
वुड्रो के शब्दों में -"बुद्धि क्षमतायें अर्जित करने की क्षमता है।'

इस प्रकार हम कह सकते हैं कि बुद्धि व्यक्ति की अत्यन्त महत्वपूर्ण क्षमता है। नवीन परिस्थितियों से समायोजन व विभिन्न क्षमताओं के विकास की दिशा में कौन-सा बालक किस सीमा तक सक्षम है, यह बालकों की बुद्धिलब्धि पर निर्भर करता है। थर्स्टन ने बुद्धि को 'आठ योग्यताओं का पुंज कहा है। बुद्धि की इन विशिष्ट योग्यताओं का व्यवहार के संचालन पर गहन प्रभाव पड़ता है। किस बालक में कितनी व किस प्रकार की बुद्धि है, यह ज्ञात करने के लिए अनेक परीक्षणों का निर्माण किया गया है। उनमें से कुछ प्रमुख परीक्षण हैं -

(i) बिने स्टेनफोर्ड परीक्षण,
(ii) वैश्लर - वैलेव्यू परीक्षण
(iii) वर्ट के तर्क शक्ति परीक्षण,
(iv) जैसिल विकास अनुसूची,
(v) मेरिल पामर मानसिक पीरक्षण,
(vi) टरमैन ग्रुप टेस्ट ऑफ मेन्टल मैच्यूरिटी
(vii) प्रयाग मेहता का सामान्य बुद्धि परीक्षण,
(viii) आर्मी जनरल का क्लासीफिकेशन परीक्षण,
(ix) भाटियाज बैटरी ऑफ परफॉरमेन्स टेस्ट्स ऑफ इन्टेलिजेन्स,
(x) अलेक्जैण्डर्स पास- एलांगटेस्ट, आदि।

अभियोग्यता परीक्षण

किसी विशिष्ट क्षेत्र या समूह में, व्यक्ति की कार्य कुशलता की विशिष्ट योग्यता या क्षमता को अभियोग्यता कहते हैं।

ट्रेक्सलर के अनुसार - "अभिक्षमता वर्तमान स्थिति है, जो व्यक्ति के भविष्य की क्षमताओं की ओर इंगित करती है।'

शिक्षा एवं निर्देशन के क्षेत्र में अभियोग्यता का विशेष महत्व है। विशेषताः व्यवसाय संम्बन्धी निर्देशन के लिए अभियोग्यता की जानकारी नितान्त आवश्यक है। किसी छात्र को किन विषयों का अध्ययन करना चाहिए तथा शिक्षा प्राप्ति के उपरांत किस व्यवसाय की तैयारी करनी चाहिए, इसका निर्धारण. अभियोग्यता से ही सम्भव है। इस हेतु विभिन्न प्रकार की अभियोग्यता परीक्षाओं का निर्माण किया गया है। जैसे -

(i) Minnesota Vocational Test for Clerical Workers
(ii) National Institute of Industrial Psychology Clerical Test.
(iii) Deteroit Clerical Aptitude Examination.
(iv) The Minnesota Mechanical Aptitute Test.
(v) Johason's O' conner's Wiggby Blcks Test आदि।

अभिवृत्ति परीक्षण

अभिवृत्ति एक मानसिक घटना है तथा इसे सामाजिक प्रत्यय में समाविष्ट किया जाता है। व्यक्ति के मानसिक व्यवहार एवं उसकी सामाजिक परिस्थितियों में अभिवृत्ति की घटना, व्यक्ति या वस्तु के प्रति जिस व्यक्ति की अभिवृत्ति जिस प्रकार की होगी, उसी प्रकार का व्यवहार उस व्यक्ति के द्वारा किया जायेगा। जेम्स ड्रेवर के अनुसार "अभिवृत्ति किसी अनुभव या प्रतिक्रिया या तत्परता से सम्बन्धित किसी सुझाव, रुचि या उपदेश का कम या अधिक स्थायी संगठन है।'

क्रम सूचक परिमाप - क्रम सूचक परिमाप में व्यक्तित्व की विशेषताओं, अभिवृत्ति अभिरुचि बुद्धि आदि के आधार पर बालक के क्रम को अध्यापक निश्चित करता है।

निर्धारण परीक्षण -

इन परीक्षणों को प्रमाणीकृत किया गया है। इस परीक्षण में सामान्य सूचनायें दी होती हैं। जिनके अनुसार परीक्षण प्रशासित करने वाले व्यक्ति को कक्षा स्तर की सभी बातों की जानकारी होती है। इसी जानकारी के आधार पर अध्यापक छात्रों की वैयक्तिक भिन्नताओं का मापन करता है।

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    अनुक्रम

  1. प्रश्न- शिक्षा मनोविज्ञान का अर्थ बताइये एवं इसकी प्रकृति को संक्षेप में स्पष्ट कीजिये !
  2. प्रश्न- मनोविज्ञान और शिक्षा के सम्बन्ध का विवेचन कीजिये और बताइये कि मनोविज्ञान ने शिक्षा सिद्धान्त और व्यवहार में किस प्रकार की क्रान्ति की है?
  3. प्रश्न- शिक्षा के क्षेत्र में मनोविज्ञान की भूमिका या महत्त्व बताइये।
  4. प्रश्न- 'शिक्षा मनोविज्ञान का आलोचनात्मक मूल्यांकन कीजिये। शिक्षक प्रशिक्षण में इसकी सम्बद्धता क्या है?
  5. प्रश्न- शिक्षा मनोविज्ञान की विकासात्मक विधि को समझाइये तथा इस विधि की विशेषताओं एवं सीमाओं का उल्लेख कीजिये।
  6. प्रश्न- शिक्षा मनोविज्ञान के प्रमुख उद्देश्यों का उल्लेख कीजिये।
  7. प्रश्न- शैक्षिक सिद्धान्त व शैक्षिक प्रक्रिया के लिये शैक्षिक मनोविज्ञान का क्या महत्त्व है?
  8. प्रश्न- मनोविज्ञान की विभिन्न परिभाषाओं को स्पष्ट कीजिये।
  9. प्रश्न- व्यवहारवाद की प्रमुख विशेषताएँ बताइए और आधुनिक भारतीय शिक्षा के क्षेत्र में व्यवहारवाद सम्प्रदाय का क्या योगदान है?
  10. प्रश्न- व्यवहारवाद तथा शिक्षा के सम्बन्ध का उल्लेख कीजिए।
  11. प्रश्न- गैस्टाल्ट मनोविज्ञान का शैक्षिक महत्व बताते गेस्टाल्टवाद का वर्णन कीजिए।
  12. प्रश्न- प्रकार्यवाद क्या है? उल्लेख कीजिए। प्रकार्यवाद का सिद्धान्त बताइए।
  13. प्रश्न- अवयवीवाद (गेस्टाल्टवाद) की मुख्य विशेषतायें बताइये।
  14. प्रश्न- फ्रायड के मनोविश्लेषणवाद को समझाइये।
  15. प्रश्न- शिक्षा मनोविज्ञान शिक्षा की कुछ महत्त्वपूर्ण समस्याओं का समाधान करता है कैसे?
  16. प्रश्न- मनोविज्ञान में व्यवहारवाद की आवश्यकता का विश्लेषण कीजिए।
  17. प्रश्न- व्यवहारवाद क्या है? इसका शैक्षिक महत्व बताइये।
  18. प्रश्न- मनोविज्ञान के सम्प्रदाय का अर्थ तथा प्रकार का वर्णन कीजिए।
  19. प्रश्न- संरचनावाद का शिक्षा में क्या योगदान है?
  20. प्रश्न- अधिगम के अर्थ एवं प्रकृति की विवेचना कीजिए। अधिगम एवं परिपक्वता के अन्तर को स्पष्ट कीजिए।
  21. प्रश्न- अधिगम की परिभाषा बताइए।
  22. प्रश्न- अधिगम की प्रकृति समझाइये।
  23. प्रश्न- परिपक्वता और सीखने में क्या अन्तर है?
  24. प्रश्न- अधिगम को प्रभावित करने वाले कारक कौन-कौन-से हैं? उन्हें स्पष्ट कीजिए।
  25. प्रश्न- अधिगम को प्रभावित करने वाले अध्यापक से सम्बन्धित कारक कौन-से हैं?
  26. प्रश्न- विषय से सम्बन्धित अधिगम को प्रभावित करने वाले कारकों का वर्णन कीजिए।
  27. प्रश्न- अधिगम के वातावरण सम्बन्धी कारकों का वर्णन कीजिए।
  28. प्रश्न- 'अनुबन्धन' से क्या अभिप्राय है? पावलॉव और स्किनर के सीखने के सिद्धान्त का वर्णन कीजिए।
  29. प्रश्न- अनुकूलित-अनुक्रिया को नियंत्रित करने वाले कारक कौन-कौन से हैं?
  30. प्रश्न- अनुकूलित-अनुक्रिया को प्रभावित करने वाले कारक कौन-से हैं?
  31. प्रश्न- प्रानुकूलित अनुक्रिया से आप क्या समझते हैं? इस सिद्धान्त का शिक्षा में प्रयोग बताइये।
  32. प्रश्न- अनुकूलित-अनुक्रिया सिद्धान्त का मूल्यांकन कीजिए।
  33. प्रश्न- स्किनर द्वारा सीखने के सिद्धान्त की आलोचनात्मक व्याख्या कीजिए।
  34. प्रश्न- थार्नडाइक द्वारा प्रतिपादित अधिगम के विभिन्न नियमों का उल्लेख कीजिए।
  35. प्रश्न- थार्नडाइक के उद्दीपन-अनुक्रिया सिद्धान्त का वर्णन कीजिए।
  36. प्रश्न- गेस्टाल्ट का समग्राकृति अथवा अन्तर्दृष्टि का सिद्धान्त क्या है?
  37. प्रश्न- स्किनर के सक्रिय अनुकूलित अनुक्रिया सिद्धान्त के शिक्षा में प्रयोग को समझाइये |
  38. प्रश्न- थार्नडाइक के सम्बन्धवाद अथवा प्रयास व त्रुटि के सिद्धान्त के द्वारा अधिगम को समझाइये |
  39. प्रश्न- अधिगम स्थानान्तरण क्या है? अधिगम स्थानान्तरण के प्रकार बताइये।
  40. प्रश्न- अधिगम स्थानान्तरण के प्रकार बताइए।
  41. प्रश्न- अधिगम स्थानान्तरण की दशाओं पर संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
  42. प्रश्न- अधिगमान्तरण के विभिन्न सिद्धान्तों का संक्षिप्त वर्णन कीजिए।
  43. प्रश्न- विभिन्न परिभाषाओं के आधार पर अभिप्रेरणा का अर्थ स्पष्ट करते हुए अभिप्रेरणा के प्रकारों का वर्णन कीजिए।
  44. प्रश्न- अभिप्रेरणा के प्रकारों का वर्णन कीजिए।
  45. प्रश्न- अभिप्रेरणा को प्रभावित करने वाले प्रमुख कारक कौन-से हैं? उल्लेख कीजिये।
  46. प्रश्न- 'प्रेरणा' के सम्प्रत्यय का वर्णन कीजिए। छात्रों को अभिप्रेरित करने के लिए आप किन तकनीकों या विधियों का प्रयोग करेंगे?
  47. प्रश्न- अभिप्रेरणा क्या है? अभिप्रेरणा एवं व्यक्तित्व किस प्रकार सम्बन्धित हैं?
  48. प्रश्न- अभिप्रेरणा का क्या महत्त्व है? अभिप्रेरणा के विभिन्न सिद्धान्तों का वर्णन कीजिये।
  49. प्रश्न- अभिप्रेरणा के विभिन्न सिद्धान्तों का उल्लेख कीजिए।
  50. प्रश्न- अभिप्रेरणा का मूल प्रवृत्ति सिद्धान्त की व्याख्या कीजिए।
  51. प्रश्न- अभिप्रेरणा का मूल मनोविश्लेषणात्मक सिद्धान्त की व्याख्या कीजिए।
  52. प्रश्न- अभिप्रेरणा का उद्दीपन-अनुक्रिया सिद्धान्त को समझाइये |
  53. प्रश्न- शैक्षिक दृष्टि से अभिप्रेरणा का क्या महत्त्व है?
  54. प्रश्न- विभिन्न परिभाषाओं के आधार पर बुद्धि का अर्थ स्पष्ट करते हुये बुद्धि की प्रकृति या स्वरूप तथा उसकी विशेषताओं का उल्लेख कीजिये।
  55. प्रश्न- बुद्धि की प्रकृति एवं स्वरूप का वर्णन कीजिए।
  56. प्रश्न- बुद्धि की विशेषताओं को समझाइये |
  57. प्रश्न- बुद्धि परीक्षा के विभिन्न प्रकार कौन-से हैं? वैयक्तिक व सामूहिक बुद्धि परीक्षा की तुलना कीजिये।
  58. प्रश्न- सामूहिक बुद्धि परीक्षण से आप क्या समझते हैं?
  59. प्रश्न- शाब्दिक व अशाब्दिक तथा उपलब्धि परीक्षण को स्पष्ट कीजिये।
  60. प्रश्न- वाचिक अथवा अवाचिक वैयक्तिक बुद्धि परीक्षण से क्या अभिप्राय है? उल्लेख कीजिये।
  61. प्रश्न- स्टैनफोर्ड बिने मानदण्ड क्या है?
  62. प्रश्न- बर्ट द्वारा संशोधित बुद्धि परीक्षण को बताइये।
  63. प्रश्न- अवाचिक वैयक्तिक बुद्धि परीक्षण के प्रकार बताइये।
  64. प्रश्न- वाचिक सामूहिक बुद्धि परीक्षण कौन से हैं?
  65. प्रश्न- अवाचिक सामूहिक बुद्धि परीक्षणों का वर्णन कीजिये।
  66. प्रश्न- बुद्धि परीक्षण के विभिन्न उपयोगों पर संक्षिप्त प्रकाश डालिये।
  67. प्रश्न- आई. क्यू. (I.Q.) से क्या तात्पर्य है? यह कैसे नापा जाता है? क्या आई. क्यू. स्थायी होता है? बुद्धि कहाँ तक पितृगत होती है? अपने उत्तर के समर्थन में प्रयोगात्मक प्रमाणों का उल्लेख कीजिये।
  68. प्रश्न- क्या आई. क्यू. (बुद्धिलब्धि) स्थायी होती है?
  69. प्रश्न- बुद्धि कहाँ तक पितृगत (वंशानुगत) होती है?
  70. प्रश्न- बुद्धि के स्वरूप व प्रकारों का संक्षिप्त वर्णन कीजिए।
  71. प्रश्न- बुद्धि के विभिन्न सिद्धान्तों का उल्लेख कीजिए।
  72. प्रश्न- बुद्धि-लब्धि क्या है?
  73. प्रश्न- बुद्धि की पहचान किन तथ्यों के माध्यम से की जा सकती है? व्याख्या कीजिए।
  74. प्रश्न- व्यक्तिगत भिन्नता से आप क्या समझते हैं? इसके कारणों एवं प्रकारों का संक्षिप्त परिचय दीजिए।
  75. प्रश्न- व्यक्तिगत भिन्नता होने के क्या-क्या कारण हैं?
  76. प्रश्न- व्यक्तिगत भिन्नता कितने प्रकार की होती है? प्रत्येक का वर्णन कीजिए।
  77. प्रश्न- व्यक्तिगत भिन्नता मापने की विधियाँ बताइये।
  78. प्रश्न- व्यक्तिगत भिन्नता और शिक्षा में क्या सम्बन्ध है?
  79. प्रश्न- व्यक्तिगत विभिन्नता का शिक्षा में क्या महत्व है?
  80. प्रश्न- वैयक्तिक विभिन्नता से आप क्या समझते है? शिक्षा में इसके महत्व का वर्णन कीजिए।
  81. प्रश्न- वैयक्तिक विभिन्नताओं के मापन पर संक्षिप्त प्रकाश डालिए।
  82. प्रश्न- वैयक्तिक विभिन्नता का मापन व्यक्तित्व परीक्षा द्वारा कैसे किया जाता है?
  83. प्रश्न- परीक्षण के बाद व्यक्तिगत विभिन्नता का मापन बताइए।
  84. प्रश्न- उपलब्धि परीक्षण से व्यक्तिगत विभिन्नता का मापन बताइये।
  85. प्रश्न- वैयक्तिक भिन्नता पर आधारित शिक्षण प्रविधियों का उल्लेख कीजिए।
  86. प्रश्न- डेक्रोली शिक्षण योजना को स्पष्ट कीजिए।
  87. प्रश्न- कॉन्ट्रेक्ट शिक्षण योजना तथा प्रोजेक्ट शिक्षण योजना का वर्णन कीजिए।
  88. प्रश्न- डाल्टन योजना को स्पष्ट कीजिए।
  89. प्रश्न- अभिक्रमित अनुदेशन से आप क्या समझते हैं? स्पष्ट कीजिए।
  90. प्रश्न- निष्पत्ति लब्धि की व्याख्या कीजिए।
  91. प्रश्न- शिक्षा-लब्धि पर टिप्पणी लिखिए।
  92. प्रश्न- निष्पत्ति परीक्षण की शैक्षिक उपयोगिता का वर्णन कीजिए।
  93. प्रश्न- व्यक्तित्व के प्रमुख प्रकारों का उल्लेख कीजिये।
  94. प्रश्न- थार्नडाइक ने व्यक्तित्व को कितने भागों में विभाजित किया है?
  95. प्रश्न- स्प्रैगर के अनुसार व्यक्तित्व के प्रकार बताइए।
  96. प्रश्न- युंग द्वारा बताए गए व्यक्तित्व के प्रकारों का वर्णन कीजिए।
  97. प्रश्न- व्यक्तित्व क्या है? व्यक्तित्व का निर्धारण करने वाले जैविक एवं वातावरणजन्य कारकों का विवेचन कीजिये।
  98. प्रश्न- व्यक्तित्व के प्रमुख गुणों (विशेषताओं) या शीलगुण सिद्धान्त का विस्तार का उल्लेख कीजिए।
  99. प्रश्न- व्यक्तित्व के निर्धारण में वंशानुक्रम तथा पर्यावरण की भूमिका बताइए।
  100. प्रश्न- व्यक्तित्व निर्धारण में विद्यालय कैसे प्रभाव डालता है?
  101. प्रश्न- व्यक्तित्व की संरचना से सम्बन्धित विभिन्न सिद्धान्तों का वर्णन कीजिये।
  102. प्रश्न- फ्रायड के सिद्धान्त के प्रमुख तत्व बताइये।
  103. प्रश्न- फ्रायड द्वारा बताई गई रक्षा युक्तियों को समझाइये।
  104. प्रश्न- व्यक्तित्व की संरचना से सम्बन्धित युंग के सिद्धान्त को बताइये।
  105. प्रश्न- युंग के अनुसार व्यक्तित्त्व का वर्गीकरण कीजिये।
  106. प्रश्न- व्यक्तित्व क्या है? व्यक्तित्व मापन के प्रकारों का वर्णन कीजिए।
  107. प्रश्न- व्यक्ति की किशोरावस्था या प्रौढ़ावस्था में उसके मानसिक स्वास्थ्य को किस प्रकार संरक्षित किया जा सकता है?
  108. प्रश्न- प्रौढ़ावस्था में मानसिक स्वास्थ्य को किस प्रकार से संरक्षित किया जायेगा?
  109. प्रश्न- कौन-कौन से कारक मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करते हैं और शिक्षक के मानसिक स्वास्थ्य को अच्छा नामे रखने के उपाय बताइए।
  110. प्रश्न- शिक्षक के मानसिक स्वास्थ्य को अच्छा बनाए रखने के उपाय बताइये।
  111. प्रश्न- मानसिक द्वन्द्व से आप क्या समझते हैं? इसके क्या कारण हैं?
  112. प्रश्न- मानसिक द्वन्द्व के स्रोत बताइए।
  113. प्रश्न- समायोजन से क्या आशय है? विद्यालयी बालकों में कुसमायोजन के कारण बताइये।
  114. प्रश्न- समायोजन की विशेषताएँ बताइये।
  115. प्रश्न- विद्यालयी बालकों में कुसमायोजन के लिए कौन-कौन से कारण उत्तरदायी हैं? उनका वर्णन कीजिए।
  116. प्रश्न- बचाव (समायोजन) क्या है? प्रमुख बचाव (समायोजन) यंत्रीकरणों को उदाहरण सहित प्रस्तुत कीजिए।
  117. प्रश्न- 'संघर्ष' को परिभाषित कीजिए।
  118. प्रश्न- भग्नाशा (कुंठा) को परिभाषित कीजिए। भग्नाशा के प्रमुख कारणों की चर्चा कीजिए।
  119. प्रश्न- दुश्चिंता पर टिप्पणी लिखिए।
  120. प्रश्न- समायोजन स्थापित करने की विभिन्न तकनीकों की व्याख्या कीजिए।
  121. प्रश्न- तनाव प्रबन्धन क्या है?
  122. प्रश्न- समायोजन विधि को संक्षेप में समझाइये।

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